!! जीवन-संदेश !!
महत जनों का जीवन
प्रतिपल ,
देता है
संदेश सभी को |
हम भी महिमामय कर
सकते है ,
अपने छोटे
से जीवन को ||
होंगे जब विदा जगत से हम ,
पदचिन्ह छोड़कर जाएँगे |
वे समय-बालुका पर अंकित
,
चिरदिन तक देखे
जाएँगे ||
थककर यदि हुआ निराश कहीं ,
शायद कोई चलता
राही |
उन पदचिन्हों को देख वहाँ ,
पा जाए अभिनव आशा ही ||
अतएव चलो हम जुट
जाए ,
अपना भविष्य खुद गढ़ने
को |
सीखेंगे अविरत श्रम करना ,
उन्नति की सीढ़ी चढ़ने को
||
...................................................................
loading...
Note: This inspirational poem is not my original creation .
निवेदन :- कृपया अपने comments के माध्यम से जरुर बताएं की आपको यह Poem कैसा लगा और यदि आपको यह poem पसंद आया तो please इसे अपने friends के साथ जरुर share करे |
यदि आपके पास हिंदी में कोई good article, poem, inspirational story, या जानकारी है , जो आप हमारे साथ share करना चाहते है, तो कृपया हमसे contact करे (Contact Us) , पसंद आने पर हम उसे आप के नाम और photo के साथ यहाँ publish करेंगे , Thanks !
No comments:
Post a Comment